Ghugus | डरो मत! कांग्रेस है साथ – नहीं गिरने देंगे आपका आशियाना!
चंद्रपुर Tak
"Congress promises to stand by citizens amid housing concerns, assuring that no one will lose their home. Get the latest updates on Congress’s housing support measures."
डरो मत! आपके घर को कोई नुकसान नहीं होगा: कांग्रेस ने अतिक्रमण नोटिस से डरे नागरिकों को दिलाया भरोसा
चंद्रपुर जिले के घुग्घूस शहर में अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई को लेकर मचे हड़कंप के बीच कांग्रेस पार्टी ने मोर्चा संभालते हुए स्थानीय नागरिकों को भरोसा दिलाया है कि उनके मकानों को किसी भी हालत में नुकसान नहीं पहुँचने दिया जाएगा।
शहर के अमराई जुनी वस्ती, उड़िया वस्ती, कृष्णमूर्ति किराना से लेकर भीमराव कोकरे के घर तक के इलाके में निवास करने वाले नागरिकों को हाल ही में चंद्रपुर के नायब तहसीलदार कार्यालय की ओर से अतिक्रमण नोटिस जारी किए गए थे। इस नोटिस के चलते पूरे क्षेत्र में भय और असुरक्षा का माहौल बन गया है।
इसी के विरोध में आज 26 मई को कांग्रेस पार्टी की ओर से एक जनजागृति पदयात्रा का आयोजन किया गया। 'डरो मत!' नामक इस जनचेतना अभियान का नेतृत्व कांग्रेस अध्यक्ष राजुरेड्डी के मार्गदर्शन में किया गया, जिसमें पार्टी के दर्जनों पदाधिकारी और कार्यकर्ता शामिल हुए।
जनता के बीच जाकर दिया आश्वासन
कांग्रेस पदाधिकारियों ने प्रभावित इलाकों में जाकर घर-घर नागरिकों से मुलाकात की और उन्हें समझाया कि कांग्रेस पार्टी उनके साथ है। "हम आपके घर की एक भी ईंट को गिरने नहीं देंगे, चाहे इसके लिए हमें गली से लेकर दिल्ली तक और जिला न्यायालय से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक लड़ाई क्यों न लड़नी पड़े," यह आश्वासन कांग्रेस नेताओं ने नागरिकों को दिया।
नेताओं की हुंकार: घरों पर नहीं आने देंगे संकट
कांग्रेस नेताओं ने यह स्पष्ट कर दिया कि नागरिकों के मूलभूत अधिकारों के साथ कोई समझौता नहीं होने दिया जाएगा। “हम हर कानूनी लड़ाई लड़ने को तैयार हैं, लेकिन किसी गरीब या मध्यम वर्गीय परिवार का घर टूटने नहीं देंगे,” कांग्रेस नेता सैयद अनवर ने कहा।
पदयात्रा में ये नेता रहे मौजूद
इस पदयात्रा में प्रमुख रूप से कांग्रेस के जिलाध्यक्ष सैय्यद अनवर, जिला महासचिव अलीम शेख, सोशल मीडिया जिलाध्यक्ष रोशन दंतलवार, कुमार रुद्रारप, दीपक पेंदोर, सुनील पाटील, महिला जिल्हा उपाध्यक्ष यास्मिन सैय्यद, महिला शहर कार्याध्यक्ष दीप्ति सोनटक्के, मंगला बुरांडे, शिल्पा गोहिल, नीलिमा वाघमारे, हरीश कांबले, अंकुश सपाटे, गुरुदेव गेडाम सहित कई अन्य नेता एवं कार्यकर्ता उपस्थित थे।
राजनीतिक पृष्ठभूमि पर उठते सवाल
विश्लेषकों की मानें तो अतिक्रमण नोटिसों के पीछे राजनीतिक द्वेष या प्रशासनिक दबाव भी हो सकता है, जिसे लेकर आने वाले दिनों में राजनीति और गरमाने की संभावना है। कांग्रेस ने इस मुद्दे को पूरी तरह से हाथ में लेते हुए इसे जनता से सीधा जोड़ने की रणनीति अपनाई है।
'डरो मत!' पदयात्रा एक ओर जहां प्रभावित लोगों में आत्मविश्वास का संचार करने का प्रयास है, वहीं दूसरी ओर यह कांग्रेस की ओर से प्रशासन और सरकार को एक कड़ा संदेश भी है – कि यदि जनता के घरों पर संकट आया, तो कांग्रेस सड़कों से लेकर अदालत तक संघर्ष करेगी। आने वाले दिनों में यह मामला और भी तूल पकड़ सकता है, और यह देखना दिलचस्प होगा कि प्रशासन का अगला कदम क्या होगा।